खबरेंदेवरिया

गड़ेर में हुई मखाना की रोपाई : मखाना उत्पादक क्षेत्र बना देवरिया, जिलाधिकारी की पहल पर शुरू हुआ अभियान

Deoria News : 15 मार्च का दिन जनपद के लिए अविस्मरणीय रहा। इस दिन जिलाधिकारी अखंड प्रताप सिंह की पहल पर एक नई शुरूआत हुई। गड़ेर स्थित संकर्षण शाही के मत्स्यपालन केंद्र में मखाना के पौधे की रोपाई हुई। इसके साथ ही देवरिया मखाना की खेती करने वाले क्षेत्रों के राष्ट्रीय फलक में शुमार हो गया।

इस अवसर पर जिलाधिकारी अखंड प्रताप सिंह ने कहा कि गड़ेर में मखाना की रोपाई के साथ ही नए अध्याय की शुरुआत हुई है। जनपद मखाना की खेती करने वाले क्षेत्रों के राष्ट्रीय मानचित्र पर आ गया है। यह जनपद की आर्थिक तरक्की का आधार बनेगा। जनपद की भौगोलिक प्रोफइल में लगभग 30 हजार हेक्टेयर भूमि लो-लैंड एवं जलमग्न क्षेत्र चिन्हित है। इन क्षेत्रों के लिए मखाना की खेती वरदान सरीखी सिद्ध होगी। देवरिया की जलवायु में मिथिला जैसी उत्पादकता देने का सामर्थ्य है। जिलाधिकारी ने बताया कि आज मखाना के जिस पौध की रोपाई हुई है वह स्वर्ण वैदेही प्रजाति की है, जिसे काला हीरा नाम से भी जाना जाता है। उन्होंने किसानों से व्यापक पैमाने पर मखाना की खेती प्रारंभ करने का अनुरोध किया।

सीडीओ प्रत्यूष पांडेय ने जनपद में हो रहे अभिनव प्रयोग पर प्रसन्नता व्यक्त की और मखानाकल्चर करने वाले मत्स्य पालकों को हर संभव सहयोग के लिए आश्वस्त किया। उन्होंने कहा कि इस नयी शुरुआत से युवाओं को प्रेरणा मिलेगी।

मत्स्य विभाग के सेवानिवृत्त सहायक निदेशक एवं मखाना खेती के विशेषज्ञ डॉ डीएन पांडेय ने बताया कि गत नवंबर में तरकुलवा ब्लॉक के हरैया में प्रगतिशील मत्स्यपालक गंगा शरण श्रीवास्तव के मत्स्य पालन केंद्र पर मखाना की नर्सरी स्थापित की गई थी। नर्सरी में पौध तैयार होने के बाद उसकी रोपाई संपन्न हुई है। मखाना के दो पौधों के मध्य दो मीटर की दूरी होनी चाहिए, क्योंकि इसके पत्ते का आकार लगभग एक मीटर तक होता है। मई माह के उत्तरार्ध में इसके फूल आ जाएंगे और सितंबर तक फसल तैयार हो जाएगी। उन्होंने बताया कि मखाना को तालाब में मछली के साथ उगाया जा सकता है। इसके साथ देशी मांगुर प्रजाति की मछली का उत्पादन संभव है, जिसका बाज़ार मूल्य अच्छा खासा है। उन्होंने बताया कि तालाब के अतिरिक्त सामान्य खेत में भी मखाना का उत्पादन संभव है।

प्रभारी मुख्य कार्यकारी अधिकारी मत्स्य विभाग रितेश शाही ने बताया कि प्रथम चरण में जनपद के आठ मत्स्यपालकों को चिन्हित किया गया है, जिनके लगभग डेढ़ हेक्टेयर जलक्षेत्र में मखाना की खेती प्रारंभ की जा रही है। उन्होंने कहा कि इससे किसानों को दोहरा लाभ मिलेगा और मछली के साथ-साथ मखाना का मूल्य भी मिलेगा।

प्रगतिशील मत्स्यपालक संकर्षण शाही ने बताया कि आज उनके लगभग आधा एकड़ आकार के तालाब में मखाना की रोपाई की गई है। यदि फसल अच्छी प्राप्त होगी तो अगले सीजन में व्यापक पैमाने पर मखाना की खेती करेंगे।

इस अवसर पर जिला उद्यान अधिकारी राम सिंह यादव, मत्स्य निरीक्षक वेंकटेश त्रिपाठी, प्रगतिशील मत्स्यपालक विनय गुप्ता, विक्की गुप्ता, प्रगतिशील किसान कमलेश मिश्रा सहित बड़ी संख्या में मत्स्यपालक एवं किसान मौजूद थे।

Related posts

Deoria News : रामजानकी मार्ग के लिए देवरिया के 45 गांवों की भूमि अधिग्रहित होगी, सीमांकन की तैयारी शुरू

Abhishek Kumar Rai

Scholarship Application : छात्रवृत्ति के लिए 16 अगस्त तक मास्टर डाटा अपडेट करें संस्थाएं, टाइम टेबल जारी हुआ

Abhishek Kumar Rai

देवरिया में 25 बेड के हॉस्पिटल में मिले सिर्फ 3 : डीएम ने एमओआईसी और मेडिकल अफसर समेत 6 पर लिया एक्शन

Satyendra Kr Vishwakarma

बिहार में कैबिनेट का गठन : 31 विधायकों ने ली मंत्री पद की शपथ, राजद के 16 एमएलए बने मिनिस्टर, देखें किसे क्या जिम्मेदारी मिली

Sunil Kumar Rai

पीएम मोदी ने किया देश के पहले रैपिड रेल का उद्घाटन : सीएम योगी ने जताया आभार, 45 मिनट में पूरा होगा मेरठ का सफर

Sunil Kumar Rai

DDU Sports Fellowship Program : 10 अक्टूबर को होगा डीडीयू गोरखपुर में गुरु गोरक्षनाथ स्पोर्ट्स फेलोशिप के लिए चयन, साथ लेकर जाएं ये पेपर

Abhishek Kumar Rai
error: Content is protected !!