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मुख्य सचिव का आदेश : रोज एक घंटे जनसुनवाई करेंगे अफसर, बदलेगा काम करने का तरीका, जानें

-प्रदेश सरकार सुशासन एवं सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध
-सुशासन की प्राप्ति हेतु शासन एवं प्रशासन को अधिक पारदर्शी, जवाबदेह एवं उत्तरदायी बनाया गया
-जनसुनवाई के समय जनप्रतिनिधियों से प्राप्त जनसमस्याओं का प्राथमिकता पर निस्तारण किया जाए

Uttar Pradesh : प्रदेश के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने समस्त मण्डलायुक्त, जोनल अपर पुलिस महानिदेशक, पुलिस आयुक्त लखनऊ, कानपुर, गौतमबुद्ध नगर, वाराणसी, पुलिस महानिरीक्षक, पुलिस उप महानिरीक्षक समस्त रेंज, समस्त जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, पुलिस अधीक्षक को मंगलवार को जारी एक पत्र के माध्यम से जनशिकायतों के गुणवत्तापूर्ण एवं त्वरित निस्तारण कराए जाने के सम्बन्ध में निर्देश दिए हैं।

पत्र में यह उल्लेख किया गया है कि प्रदेश सरकार सुशासन एवं सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। सुशासन की प्राप्ति के लिए शासन एवं प्रशासन को अधिक पारदर्शी, जवाबदेह एवं उत्तरदायी बनाया गया है। इस सम्बन्ध में राज्य सरकार ने जनसुनवाई, आईजीआरएस, सीएम हेल्पलाइन, तहसील एवं थाना दिवस के लिए समय-समय पर निर्देश दिए हैं।

सीएम हेल्पलाइन की शिकायतों पर भी एक्शन हो

जनशिकायतों के समयबद्ध निस्तारण के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने समय-समय पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भी निर्देश दिए हैं। ऐसे जनपदों, तहसील व थानों आदि को चिन्हित भी करते हुए जिलास्तरीय अधिकारियों को चेतावनी भी दी गयी है। जनपद स्तरीय अधिकारी ऐसे चिन्हित तहसील व थानों की विशेष समीक्षा करें एवं आवश्यकता हो, तो भ्रमण भी सुनिश्चित कर मानक के अनुरूप निस्तारण सुनिश्चित करें। इसके अलावा, सीएम हेल्पलाइन पर प्राप्त शिकायतों का भी त्वरित निस्तारण करना जनपद के अधिकारियों का उत्तरदायित्व है। यदि जनशिकायतें सीएम हेल्पलाइन पर की गई हैं, तो सम्बन्धित शिकायतकर्ता की आकांक्षा रहेगी कि उसका गुणवत्तापूर्ण व त्वरित निस्तारण हो।

1 घंटे रोज करें सुनवाई

पत्र के अनुसार प्रत्येक जनपद में जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक व पुलिस अधीक्षक, पुलिस कमिश्नरेट में पुलिस आयुक्त अपने कार्यालय में समस्त कार्यदिवसों में प्रातः 10 बजे से 11 बजे तक स्वयं जनसुनवाई कर तथा मौके पर ही समस्याओं का निस्तारण सुनिश्चित करें। जनशिकायतों पर मात्र आदेश देने की औपचारिकता न करके सभी अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि किसी भी प्रार्थी की समस्या अधिक समय तक लम्बित रहने की दशा में दूरभाष पर राजस्व व पुलिस अधिकारियों को निर्देशित कर प्राप्त समस्याओं का निस्तारण कराया जाएगा।

अधिकारीगण स्वयं उत्तर दें

जनसुनवाई के समय जनप्रतिनिधियों से प्राप्त जनसमस्याओं का प्राथमिकता पर निस्तारण किया जाए। जनप्रतिनिधियों से साथ समय-समय पर पाक्षिक, मासिक बैठक कर उनके प्रेषित समस्याओं का सकारात्मक समाधान किया जाए। सरकारी सीयूजी नम्बर पर वरिष्ठ अधिकारीगण स्वयं उत्तर दें एवं जनप्रतिनिधियों से दूरभाष पर भी सम्पर्क में रहें, जिससे जनपद में समन्वित रूप से जनसमस्याओं निस्तारण हो सके।

सुनिश्चित किया जाए

जनसुनवाई के समय यदि किसी शिकायतकर्ता ने एक बार से अधिक अपनी शिकायत दी है, तो समस्या के मूल कारण को समझ कर दोषी कर्मियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाए। विशिष्ट प्रकृति की समस्याओं के लिए अगले तहसील, थाना दिवस में समय निश्चित कराते हुए फील्ड के अधिकारियों के समक्ष शनिवार के दिन यथास्थान (तहसील एवं थाने पर) समस्या का निस्तारण भी सुनिश्चित किया जाए।

रैंक न्यूनतम स्तर पर है

जनसुनवाई के समय अधीनस्थ अधिकारियों, कर्मचारियों की यदि भ्रष्टाचार आदि की शिकायतें प्राप्त होती हैं, तो सम्बन्धित के विरुद्ध कड़ी से कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। इससे प्रदेश में मुख्यमंत्री की भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति को प्रभावी ढंग से लागू किया जा सकेगा। प्रदेश में आईजीआरएस प्रणाली लागू की गई है। किन्तु कतिपय जनपदों के तहसील अथवा थानों में लम्बे समय से जनशिकायतों का निस्तारण नहीं किया गया है एवं उनका प्रदेश में निस्तारण में रैंक न्यूनतम स्तर पर है।

लंबित न रहें शिकायतें

मण्डल, जिला स्तरीय अधिकारियों से अपेक्षा की गई है कि नियमित रूप से आईजीआरएस, सीएम हेल्पलाइन, तहसील-थाना दिवस में प्राप्त शिकायतों के निस्तारण की समीक्षा की जाए। जिस किसी ब्लॉक, तहसील व थाना में अधिकतम निस्तारण लम्बित हो, उनके सम्बन्धित अधिकारियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाए।

निस्तारित हों समस्याएं

जनसुनवाई में यदि किसी ग्रामीण अथवा शहरी क्षेत्र के समूह में व्यक्ति ज्ञापन लेकर पहुंचते हैं, तो लोकहित के बिन्दुओं का राजस्व एवं पुलिस विभाग के अतिरिक्त ग्राम्य विकास, लोक निर्माण, ऊर्जा, सिंचाई, कृषि, पशुपालन, समाज कल्याण (छात्रवृत्ति), नगर निकाय आदि विभागों के अधिकारियों को निर्देशित कर समस्याओं के निस्तारण के निर्देश दिए जाएं।

कार्रवाई की जाएगी

मुख्यमंत्री शीघ्र ही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जनसुनवाई, आईजीआरएस एवं सीएम हेल्पलाइन की समीक्षा करेंगे। यदि जनसुनवाई में अधिकारियों की अनुपस्थिति, आईजीआरएस एवं सीएम हेल्पलाइन पर प्राप्त जनशिकायतों का गुणवत्तापूर्ण एवं त्वरित निस्तारण नहीं होता है, तो सम्बन्धित जनपद स्तरीय अधिकारियों का उत्तरदायित्व निर्धारित कर सख्त कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

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