Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश में धार्मिक आयोजनों में तेज आवाज में लाउडस्पीकर बजाना अब भारी पड़ेगा। योगी आदित्यनाथ सरकार (Yogi Adityanath Government) तेज आवाज में शोर मचाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करेगी। मुख्यमंत्री ने इस संबंध में अफसरों को आदेश जारी किए हैं।
इस बारे में बोलते हुए सीएम योगी ने कहा कि अपनी धार्मिक विचारधारा के अनुसार सभी को अपनी उपासना पद्धति को मानने की स्वतंत्रता है। माइक का प्रयोग किया जा सकता है, लेकिन यह सुनिश्चित हो कि माइक की आवाज़ उस परिसर से बाहर न आए। अन्य लोगों को कोई असुविधा नहीं होनी चाहिए। नए स्थलों पर माइक लगाने की अनुमति न दें।
नए आयोजन नहीं होंगे
उन्होंने कहा कि शोभायात्रा, धार्मिक जुलूस बिना विधिवत अनुमति के न निकाला जाए। अनुमति देने से पूर्व आयोजक से शांति-सौहार्द कायम रखने के सम्बन्ध में शपथ पत्र लिया जाए। अनुमति केवल उन्हीं धार्मिक जुलूसों को दी जाए, जो पारम्परिक हों। नए आयोजनों को अनावश्यक अनुमति न दी जाए।
4 मई तक छुट्टी रद्द
मुख्यमंत्री ने कहा कि थानाध्यक्ष, सीओ और पुलिस कप्तान से लेकर जिलाधिकारी, मण्डलायुक्त तक सभी प्रशासनिक, पुलिस अधिकारियों का आगामी 4 मई तक का अवकाश तत्काल प्रभाव से निरस्त होगा। जो वर्तमान में अवकाश पर हैं, अगले 24 घंटे के भीतर तैनाती स्थल पर वापस लौटें। मुख्यमंत्री कार्यालय द्वारा इस व्यवस्था का अनुपालन सुनिश्चित कराया जाए।
ड्रोन का इस्तेमाल हो
सीएम ने कहा कि संवेदनशील क्षेत्रों में अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की जाए। ड्रोन का उपयोग कर स्थिति पर नजर रखें। हर दिन सायंकाल पुलिस बल फुट पेट्रोलिंग जरूर करे। पीआरवी 112 एक्टिव रहे। धार्मिक कार्यक्रम, पूजा-पाठ आदि निर्धारित स्थान पर ही हों। यह सुनिश्चित करें कि सड़क मार्ग, यातायात बाधित कर कोई धार्मिक आयोजन न हो।
कार्रवाई की जाए
उन्होंने कहा कि हर एक पर्व शांति और सौहार्द के बीच सम्पन्न हों, इसके लिए स्थानीय जरूरतों के दृष्टिगत सभी जरूरी प्रयास किए जाएं। शरारतपूर्ण बयान जारी करने वालों के साथ कड़ाई से पेश आएं। माहौल खराब करने की कोशिश करने वाले अराजक तत्वों के साथ पूरी कठोरता की जाए। ऐसे लोगों के लिए सभ्य समाज में कोई स्थान नहीं होना चाहिए।
तैनाती क्षेत्र में गुजारें रात
मुख्यमंत्री ने कहा कि तहसीलदार, एसडीएम, थानाध्यक्ष, सीओ आदि अपनी तैनाती के क्षेत्र में ही रात्रि विश्राम करें। शासकीय आवास है, तो वहां रहें अथवा किराए का आवास लें। लेकिन रात्रि में अपने ही क्षेत्र में रहें। इस व्यवस्था का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित कराया जाए।