Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश से अब तक की सबसे बड़ी खबर आ रही है। प्रदेश के कुख्यात गैंगस्टर अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ अहमद की प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी गई है।
शनिवार को भारी सुरक्षा बंदोबस्त के बीच उन्हें मेडिकल के लिए प्रयागराज लाया जा रहा था, इसी दौरान हमलावरों ने उन पर ताबड़तोड़ गोली बरसाई और दोनों की हत्या कर दी। चश्मदीदों के मुताबिक हमला तब हुआ, जब वो दोनों मीडिया से बात कर रहे थे।
हालांकि पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए हमलावरों को पकड़ लिया। लेकिन यूपी के सबसे बड़े डॉन की हत्या की खबर से हर कोई हैरान है। अभी 2 दिन पहले ही अतीक अहमद के बेटे असद अहमद की यूपी एसटीएफ से मुठभेड़ में एनकाउंटर के बाद अब अतीक और उनके भाई अशरफ की हत्या बेहद सनसनीखेज है।
अतीक अहमद साल 2005 के बसपा विधायक राजू पाल हत्याकांड और इस साल फरवरी में हुए उमेश पाल हत्याकांड में आरोपी था। बताते चलें कि यूपी पुलिस और एसटीएफ ने गवाह उमेश पाल हत्याकांड के मामले में अतीक के बेटे असद अहमद को 13 अप्रैल को झांसी में एक मुठभेड़ में मारा गिराया था।
वह गुलाम के साथ मारा गया। वो दोनों प्रयागराज के उमेश पाल हत्याकांड में वांछित थे। इन सभी के सिर पर पांच-पांच लाख रुपये का इनाम था। अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ को उसी दिन उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में सीजेएम कोर्ट के सामने लाया गया, जिस दिन असद मुठभेड़ में मारा गया था।
भारी सुरक्षा के बीच हमलावरों का ताबड़तोड़ गोलियां बरसा कर अतीक और उसके भाई अशरफ अहमद की जान लेने से कई सवाल उठते हैं। हालांकि अब तक इस पर प्रयागराज पुलिस या उत्तर प्रदेश के किसी मंत्री-अधिकारी का कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।
लेकिन यह बात गले नहीं उतर रही कि 2 दिन पहले असद अहमद के एनकाउंटर में क्षमता दिखाने वाली पुलिस अतीक और अशरफ की जान कैसे नहीं बचा पाई। मेडिकल के लिए ले जाते वक्त पुलिस की मौजूदगी में उनकी हत्या आखिर कैसे हो गई। असद अहमद के एनकाउंटर के बाद से ही समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी उसकी जांच कराने की मांग पर अड़ी हैं।
अब अतीक अहमद और अशरफ अहमद की हत्या के बाद प्रदेश की राजनीति में भूचाल आना स्वाभाविक है। एनकाउंटर पर पहले से सरकार को घेर रहे विपक्षी दल अब पुलिस की सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद अतीक और अशरफ की हत्या के मामले को जोर शोर से उठाएंगे।
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