Assembly Elections 2022 : भारत निर्वाचन आयोग (Election Commission of India) ने विधान सभा सामान्य निर्वाचन – 2022 (Assembly Elections 2022) के लिए चुनाव लड़ रहे सभी अभ्यर्थियों को समान अवसर प्रदान करने तथा निर्वाचन प्रक्रिया की शुचिता एवं पारदर्शिता बनाए रखने के उद्देश्य से निर्वाचन व्यय के लिए अलग से अपना बैंक खाता खोलने के आदेश दिए हैं। उम्मीदवार नामांकन दाखिल करते समय अपने इस बैंक खाते की जानकारी उस निर्वाचन क्षेत्र के रिटर्निंग ऑफिसर को लिखित में देंगे।
जहां भी प्रत्याशियों ने अपना बैंक खाता नहीं खोला होगा या बैंक खाता संख्या की सूचना नहीं दी गयी होगी, ऐसे उम्मीदवारों को रिटर्निंग अधिकारी नोटिस जारी करेंगे। निर्वाचन आयोग ने कहा है कि चुनाव खर्च के उद्देश्य से बैंक खाता या तो उम्मीदवार के नाम से या निर्वाचन अभिकर्ता के साथ संयुक्त रूप से खोले जा सकेंगे। बैंक खाता प्रत्याशी के परिवार के किसी सदस्य या किसी अन्य व्यक्ति के नाम से नहीं खोला जा सकेगा। ऐसे बैंक खाते राज्य में कहीं भी खोले जा सकते हैं।
जिला निर्वाचन अधिकारी को देंगे जानकारी
यह खाते सहकारी बैंकों सहित किसी भी बैंक या डाकघर में खोले जा सकते हैं। उम्मीदवार के पहले से खुले बैंक खाते को निर्वाचन व्यय के प्रयोजन के लिए प्रयोग नहीं किया जाएगा। आयोग ने प्रत्याशियों को सभी निर्वाचन व्यय केवल इस बैंक खाते से ही किए जाने के निर्देश दिए हैं। उम्मीदवार द्वारा निर्वाचन संबंधी कार्यों पर किए जाने वाले सभी व्यय अपनी निधि सहित इस बैंक खाते में डाले जाएंगे तथा चुनाव परिणामों की घोषणा की तिथि से 30 दिनों की अवधि के भीतर दाखिल किए जाने वाले निर्वाचन व्यय को विवरण सहित इस बैंक खाते की स्वप्रमाणित प्रति जिला निर्वाचन अधिकारी को प्रस्तुत की जाएगी।
सुप्रीम कोर्ट ने दिया था आदेश
आयोग द्वारा सभी अभ्यर्थियों को निर्वाचन व्यय के लिएइस खाते से 20, 000 रुपए (बीस हजार) तक की नगद धनराशि खर्च करने की सीमा तय की है। इसके ऊपर के निर्वाचन व्ययों को अपने इस बैंक खाते से क्रास अकाउंट पेयी चेक/ड्राफ्ट या आरटीजीएस/एनइएफटी के माध्यम से की जाएगी। निर्वाचन आयोग बनाम भाग्योदय जन परिषद तथा अन्य (एसएलपी सं0 सी सी 20906/2012) के मामले में उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार न तो कोई अभिकर्ता एवं उनके अनुयायी और न उम्मीदवार स्वयं ही निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान निर्वाचन क्षेत्र में 50,000 रुपए से अधिक की नकद राशि ले जा सकता है।
जिला निर्वाचन अधिकारी करेंगे ये काम
यदि कोई निर्वाचन व्यय बिना उक्त बैंक खाते के माध्यम से किया गया है या निर्धारित चेक/ड्राफ्ट या आरटीजीएस/एनइएफटी के माध्यम से नहीं किया गया है तो यह समझा जाएगा कि प्रत्याशी ने आयोग के निर्देशों का अनुपालन नहीं किया है। जिला निर्वाचन अधिकारी अपने जिलों में अवस्थित सभी बैंकों, डाकघरों को यथोचित अनुदेश जारी करेंगे कि वे यह सुनिश्चित करें कि अभ्यर्थियों को निर्वाचन के प्रयोजनार्थ बैंक खाते खोलने के लिए वे समर्पित काउन्टर खोलें। निर्वाचन अवधि के दौरान, बैंक उक्त खातों में जमा और उनसे आहरण करने की अनुमति प्राथमिकता के आधार पर देंगे।