यूपी में मुख्यमंत्री बुनकर सौर ऊर्जा योजना को मंजूरी : साढ़े पांच लाख से ज्यादा बुनकरों को मिलेगा सीधा लाभ, पढ़ें पूरा प्लान

Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश मंत्रिपरिषद ने ‘मुख्यमंत्री बुनकर सौर ऊर्जा योजना’ संचालित किये जाने के प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है। योजना में किसी प्रकार के संशोधन के लिए मुख्यमंत्री अधिकृत होंगे। यह योजना लागू होने की तिथि से 05 वर्ष के लिए कार्यान्वित की जाएगी। 05 वर्ष के उपरान्त योजना का बुनकरों की स्थिति पर पड़े प्रभाव का अध्ययन कराने के उपरान्त योजना को आगे गतिमान रखने पर मुख्यमंत्री के अनुमोदन से निर्णय लिया जाएगा।

प्रदेश में 2 लाख 50 हजार पावर लूम कार्यरत हैं, जिनके माध्यम से 05 लाख 50 हजार पावर लूम बुनकर अपना जीवन-यापन कर रहे हैं। वर्तमान में स्थापित पावर लूमों को सामान्यतः विद्युत से संचालित किया जा रहा है। पावर लूम बुनकरों की परम्परागत ऊर्जा स्रोत (बिजली) पर निर्भरता समाप्त/कम कर सौर ऊर्जा की ओर ले जाने के लिए योजना का संचालन किया जाना आवश्यक है।

अतः पावर लूम बुनकरों को गैर पारम्परिक ऊर्जा/सौर ऊर्जा का लाभ दिलाने, पर्यावरण की रक्षा एवं बुनकरों को वस्त्र उत्पादन क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा में बनाये रखने के लिए अनुदानित दर पर यूपीनेडा के माध्यम से सौर ऊर्जा संयंत्र दिये जाने का प्रस्ताव है। प्रदेश में वर्तमान में पावर लूम बुनकरों द्वारा 5 किलोवॉट से अधिक 12,486 विद्युत कनेक्शन लिये गये हैं, जिन्हें योजनान्तर्गत लाभान्वित कराये जाने का प्रस्ताव है।

पावर लूम संचालन के लिए सौर ऊर्जा सम्बन्धित सोलर प्लाण्ट की स्थापना से पावर लूम बुनकरों को अनवरत विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित करने में सहायता मिलेगी। योजना का उद्देश्य प्रदेश सरकार द्वारा वित्तीय सहायता उपलब्ध कराकर अनवरत विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित कर बुनकरों की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करना तथा प्रदूषण नियंत्रण में सहयोग करना है। योजना के संचालन से लगभग 50 हजार बुनकरों को लाभ मिलेगा तथा लगभग 75 हजार प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रोजगार सृजित होगा।

सामान्य पावर लूम बुनकरों के लिए सोलर प्लाण्ट की कुल लागत का 50 प्रतिशत शासकीय अनुदान देय होगा। इस लागत में संयंत्र की लागत के साथ, यूपीनेडा की 03 प्रतिशत अनुषंगिक आय एवं जीएसटी सम्मिलित है। शेष 50 प्रतिशत या अतिरिक्त लगने वाली धनराशि लाभार्थी स्वयं अपने स्रोतों से अथवा बैंक से ऋण लेकर वहन करेगा।

अनुसूचित जाति/जनजाति के पावर लूम बुनकरों हेतु सोलर प्लाण्ट की कुल लागत का 75 प्रतिशत राज्य के अनुदान के रूप में देय होगा। शेष प्रति 25 प्रतिशत या अतिरिक्त लगने वाली धनराशि लाभार्थी स्वयं अपने स्रोतों से अथवा बैंक से ऋण लेकर वहन करेगा।

योजना के क्रियान्वयन के लिए यूपीनेडा को कार्यदायी संस्था बनाया जाएगा। यूपीनेडा द्वारा अनुषंगिक आय के रूप में प्रति संयंत्र 03 प्रतिशत धनराशि ली जाएगी। योजनान्तर्गत लाभार्थियों की संख्या वित्तीय वर्ष में प्राविधानित बजट के सापेक्ष निर्धारित की जाएगी। बजट प्राविधान अनुदान संख्या-6 के अन्तर्गत कराया जाएगा। सम्बन्धित वित्तीय वर्ष में बजट की उपलब्धता के आधार पर बुनकरों को प्रथम आगत प्रथम पावत के आधार पर लाभान्वित किया जाएगा। योजना में कम से कम 10 प्रतिशत महिला बुनकरों को लाभान्वित किया जाएगा।

वर्तमान में हथकरघा एवं वस्त्रोद्योग विभाग के 04 दिसम्बर, 2019 के शासनादेश के अनुसार पावर लूम एवं हथकरघा बुनकरों को विद्युत आपूर्ति अनुदान दिया जाता है। मुख्यमंत्री बुनकर सौर ऊर्जा योजना का लाभ प्राप्त करने वाले पावर लूम एवं हथकरघा बुनकरों को सौर ऊर्जा संयंत्र से उत्पादित होने वाली बिजली यूनिट्स तक विद्युत आपूर्ति अनुदान देय नहीं होगा। मुख्यमंत्री बुनकर सौर ऊर्जा योजना के लाभार्थियों की सूचना हथकरघा एवं वस्त्रोद्योग विभाग द्वारा उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन लिमिटेड को दी जाएगी।

सर्वप्रथम योजना का व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाएगा। पावर लूम बुनकरों की संस्था/यूनिट/लाभार्थी की पात्रता के अनुसार लाभार्थी से आवेदन-पत्र सहायक आयुक्त हथकरघा के परिक्षेत्रीय कार्यालय द्वारा प्राप्त किया जाएगा। कार्यालय स्तर पर पात्रता की जांच की जाएगी।

इसके बाद परिक्षेत्र स्तरीय कमेटी के समक्ष परीक्षण एवं अनुमोदन हेतु प्रस्ताव प्रस्तुत किया जाएगा। 10 किलोवॉट तक के सोलर प्लाण्ट के लिए परिक्षेत्र स्तरीय कमेटी से अनुमोदन के उपरान्त जनपदवार प्रस्तावों पर सम्बन्धित परिक्षेत्रीय सहायक आयुक्त, हथकरघा स्वीकृति प्रदान करेंगे तथा निदेशालय को सूचित करेंगे।

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