Gorakhpur News : देवरिया (Deoria) के सीमावर्ती जिले गोरखपुर से एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। भारतीय रेल के इतिहास में भी यह पहला वाकया है। रेलवे के इंजीनियर राजेश पांडेय ने अपना लिंग परिवर्तन करा लिया है। अब वह सोनिया बनकर सात फेरे लेने की तैयारी में हैं।
करीब 9 साल पहले राजेश की शादी धूमधाम से हुई। मगर अब सोनिया बनकर नए सिरे से जिंदगी की शुरुआत करेंगी। जेंडर बदलने के लिए रेलवे से भी लड़ाई लड़नी पड़ी। इसमें भी लंबा वक्त लगा। अपनी नई जिंदगी को लेकर उत्साहित सोनिया ने बताया कि वह अतीत से छुटकारा पाना चाहती हैं।
पहला मामला है
सोनिया (पूर्व में राजेश पांडेय) इज्जत नगर मुख्य कारखाना प्रबंधक कार्यालय में टेक्निकल ग्रेड वन पद पर फिलहाल सेवाएं दे रही हैं। 19 मार्च 2003 को राजेश को रेलवे में नौकरी मिली थी। उन्हें पिता की मौत के बाद अनुकंपा के तहत नौकरी मिली। उनके परिवार में चार बहनें और मां हैं। साल 2017 में राजेश ने अपना जेंडर परिवर्तन कराया था। महिला बन कर नया नाम सोनिया रखा। रेलवे के इतिहास में भी यह पहला मामला है, जब किसी पुरुष कर्मचारी महिला बनी हो।
रेलवे बोर्ड ने दी मंजूरी
सोनिया ने जेंडर परिवर्तित कराने के लिए विभाग से गुहार लगाई थी। रेलवे के रिकॉर्ड में महिला के रूप में नाम दर्ज करने की मांग की थी। यह पहला मामला था, इसलिए इज्जत नगर मंडल ने पूर्वोत्तर रेलवे के महाप्रबंधक कार्यालय से दिशा-निर्देश मांगा था। महाप्रबंधक ने यह मामला रेलवे बोर्ड को भेजा। बाद में रेलवे बोर्ड के आदेश पर राजेश के पास और मेडिकल कार्ड पर महिला दर्ज किया गया।
ये वजह थी
मुख्य कारखाना प्रशासन ने मेडिकल बोर्ड के सुझाव पर सोनिया को जेंडर डिस्फोरिया यानी एक लिंग से दूसरे में परिवर्तित करने की इच्छा होती है। जेंडर डिस्फोरिया में अक्सर स्त्री के तन में पुरुष मन होता है।
6 महीने में तलाक हो गया
साल 2012 में परिजनों ने राजेश की धूमधाम से शादी की। लेकिन 6 महीने बाद ही पति-पत्नी अलग हो गए। पत्नी ने तलाक ले लिया। सोनिया ने बताया कि इस दौरान वो दोनों एक दूसरे के करीब नहीं आए। पत्नी से तलाक के बाद राजेश पांडेय ने दिल्ली के निजी अस्पताल में सर्जरी कराकर जेंडर बदल लिया।