ऑपरेशन के दौरान प्रसूता की मौत : आयांश हॉस्पिटल पर लगा ताला, अस्पताल का रजिस्ट्रेशन रद्द, सीएमओ ने जांच टीम गठित की

Deoria News : मुख्य चिकित्सा अधिकारी राजेश झा (CMO Deoria Dr Rajesh Jha) ने बताया है कि रविवार को सुबह रामलक्षण चौराहे से क्षेत्रीय लोगों ने अवगत कराया कि आयांश हास्पीटल लक्षमीपुर बैदा (रामलक्षण) में सिजेरियन ऑपरेशन के पश्चात एक प्रसूता की मृत्यु हो गयी है।

यह सूचना प्राप्त होने के पश्चात प्रातः 08:50 पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी, अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (आरसीएच), अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी / नोडल अधिकारी हास्पीटल पंजीकरण तथा अधीक्षक सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र गौरीबाजार मौके पर पहुंचे। घटना के दृष्टिगत हॉस्पिटल के पंजीकरण को निलंबित करते हुये अस्पताल को बन्द कराया गया तथा जांच के लिये विशेषज्ञ चिकित्सकों की समिति बनायी गई। प्राप्त रिपोर्ट के आधार पर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।

टीम गठित की
मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने प्रकरण की जांच के लिए विशेषज्ञ चिकित्सकों की समिति का गठन किया गया है। जिसमें डा राजेन्द्र प्रसाद अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी को अध्यक्ष, डा बीएन गिरी अधीक्षक सीएचसी गौरीबाजार, डा मनोज कुमार सिंह निश्चेतक सीएचसी रुद्रपुर तथा डा स्वरुपमा यादव, चिकित्साधिकारी (स्त्री रोग विशेषज्ञ) नया पीएचसी खैरटिया (गौरीबाजार) को सदस्य नामित किया गया है। उन्होंने गठित समिति को निर्देशित किया है कि आयांश हॉस्पिटल लक्षमीपुर बैदा (रामलक्षण) के ऑपरेशन के पश्चात हुई मृत्यु से सम्बन्धित विस्तृत जांच रिपोर्ट 1 सप्ताह में उपलब्ध कराना सुनिश्चित करे।

ताला लगाकर फरार हुए
देवरिया के रुद्रपुर कोतवाली क्षेत्र के रामलक्षण चौराहे के पास लक्ष्मीपुर मोड़ पर स्थित एक निजी हॉस्पिटल में शनिवार की रात ऑपरेशन के दौरान एक प्रसूता की मौत हो गई। इससे भड़के परिजनों ने रविवार की सुबह अस्पताल पर जमकर हंगामा किया। घबराए कर्मी अस्पताल में ताला लगाकर फरार हो गए। इससे करीब 8 मरीज 3 घंटे तक हॉस्पिटल में फंसे रहे। वरिष्ठ अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर अस्पताल का ताला खुलवाया। तब जाकर मरीजों की जान में जान आई। वहीं मृतक के परिजनों ने शिकायत देते हुए अस्पताल पर कार्रवाई की मांग की।

मृत घोषित किया
जानकारी के मुताबिक क्षेत्र के सूरजपुर गांव के रवि निषाद की पुत्री निशा (28 वर्ष) को शनिवार की सुबह गौरी बाजार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था। उसे प्रसव पीड़ा थी। वहां चिकित्सक ने नार्मल डिलीवरी कराने में असमर्थता जताई और निशा को जिला अस्पताल ले जाने का सुझाव दिया। लेकिन आशा कार्यकत्री के सुझाव पर परिजनों ने प्रसूता को रामलक्षण के लक्ष्मीपुर स्थित प्राइवेट हॉस्पिटल में भर्ती कराया। परिजनों के मुताबिक रात करीब 9:00 ऑपरेशन होगा। इसी दौरान जच्चा की मौत हो गई। लेकिन इस अपराध से बचने के लिए अस्पताल ने उसे गोरखपुर कर दिया। गोरखपुर पहुंचने पर डॉक्टरों ने प्रसूता को मृत घोषित कर दिया था।

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